टूटना
एक शीशे का हो
सपने का हो
या रिश्ते का हो
टूटना
दिल का हो
बात का हो
या वादे का हो
टूटना
कसमों का हो
रस्मों का हो
या तिलिस्मों का हो
अच्छा होता है
कुछ चीजों का टूटना
और टूट कर बिखरना
उस एहसास के लिये
कि जुड़ना
आसान नहीं होता।
©यशवन्त माथुर©
एक शीशे का हो
सपने का हो
या रिश्ते का हो
टूटना
दिल का हो
बात का हो
या वादे का हो
टूटना
कसमों का हो
रस्मों का हो
या तिलिस्मों का हो
अच्छा होता है
कुछ चीजों का टूटना
और टूट कर बिखरना
उस एहसास के लिये
कि जुड़ना
आसान नहीं होता।
©यशवन्त माथुर©
टूटने का अहसास वाकई दुखदाई होता है फिर चाहे कुछ भी टूटे...बहुत सुन्दर...यशवन्त...सस्नेह...
ReplyDeleteअच्छा होता है
ReplyDeleteकुछ चीजों का टूटना
और टूट कर बिखरना
उस एहसास के लिये
कि जुड़ना
आसान नहीं होता।
बहुत सुंदर और गहन अभिव्यक्ति
वाह ... बहुत खूब कहा है आपने ...
ReplyDeleteBohot gehri soch....
ReplyDeleteSundar rachna yashwant ji.....
ReplyDeleteबहुत सुन्दर ।
ReplyDeleteजुड़ना आसान नहीं होता...
ReplyDeleteअच्छा होता है
ReplyDeleteकुछ चीजों का टूटना
और टूट कर बिखरना
उस एहसास के लिये
कि जुड़ना
आसान नहीं होता।
बहुत ही भाव पूर्ण अभिव्यक्ति !!!
बहुत सुंदर और बहुत गहन अभिव्यक्ति ...!!
ReplyDeleteयशवन्त ने 16 जून 1994,13जून 1995,25 जून 1995 को क्रमशः 'जननी',बाबा और दादी को खोया और परिस्थितियों को झेला है वह बखूबी 'टूटन' को समझता है।
ReplyDeleteइन भावों को पढ़ कर हतप्रभ थी की ऐसी अभिव्यक्ति क्यों .... तभी विजय जी की टिप्पणी पर निगाह पड़ी और कारण भी पता चला ..... शायद ये अनुभव ऐसा है जब सभी शब्द खामोश हो जाते हैं और सिर्फ भावनाएँ ही रह जाती हैं ....... क्या कहूँ बस यही दुआ है की इस टूटन के भाव विलुप्त हो जाएँ !!!
ReplyDeleteनिवेदिता जी की दुआएं कारगर हों ,हम भी यही चाहते हैं।
Deleteबेहतरीन रचना...
ReplyDeleteबहुत ही गहन भाव है
बहुत सुंदर ji
ReplyDeleteबहुत प्यारी अभिव्यक्ति है यशवंत.....
ReplyDeleteदिल से निकली है...और दिल तक पहुँच रही है....
सदा खुश रहो.....
सस्नेह.
अच्छा होता है
ReplyDeleteकुछ चीजों का टूटना
और टूट कर बिखरना
उस एहसास के लिये
कि जुड़ना
आसान नहीं होता।
बहुत बेहतरीन मन के भावनाओं सुंदर प्रस्तुति ,,,
RECENT POST ,,,,,पर याद छोड़ जायेगें,,,,,
वाह सुंदर
ReplyDeleteबहुत सुन्दर !
ReplyDeletebhaut hi acchi.....
ReplyDeleteअच्छा होता है
ReplyDeleteकुछ चीजों का टूटना
और टूट कर बिखरना
उस एहसास के लिये
कि जुड़ना
आसान नहीं होता।
आपके लेख्य को नमन .... :)
अच्छा होता है
ReplyDeleteकुछ चीजों का टूटना
और टूट कर बिखरना
उस एहसास के लिये
कि जुड़ना
आसान नहीं होता।
.....बहुत गहन अभिव्यक्ति...शुभकामनायें कि यह टूटने का भाव विलुप्त हो....