सही फ्र्मुआ माथुर जी जीवन में बहुत कुछ अनकही बाते रह जाती है.
बहुत सुन्दर प्रस्तुति ...
वाह .... सटीक लिखा है ...
बहुत अच्छी प्रस्तुतिlatest postअनुभूति : कुम्भ मेलाrecent postमेरे विचार मेरी अनुभूति: पिंजड़े की पंछी
सार्थक रचना साभार !
सही फ्र्मुआ माथुर जी जीवन में बहुत कुछ अनकही बाते रह जाती है.
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ReplyDeleteबहुत अच्छी प्रस्तुति
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सार्थक रचना
ReplyDeleteसाभार !