मतलब
निकल जाने के बाद
अपने मन की
हो जाने के बाद
दोस्त के मुखौटे में छुपे
कुछ दगाबाज लोग
दिखाने लगते हैं
अपने असली रंग ।
उन्हें नहीं मतलब होता
उनके पिछले दौर
और
आज की कठिनाइयों से
उन्हें
सिर्फ मतलब होता है
टांग खींचने से ।
ऐसे लोग
जानते हैं सिर्फ एक ही भाषा
पद,पैसे,
पहुँच और परिचय की
लेकिन नहीं जानते
तो सिर्फ यह
कि आने वाला कल
उनकी ही तरह पलटी मार कर
उनके साथ भी कर सकता है वही
जो वह कर रहे हैं आज
औरों के साथ।
~यशवन्त यश©
निकल जाने के बाद
अपने मन की
हो जाने के बाद
दोस्त के मुखौटे में छुपे
कुछ दगाबाज लोग
दिखाने लगते हैं
अपने असली रंग ।
उन्हें नहीं मतलब होता
उनके पिछले दौर
और
आज की कठिनाइयों से
उन्हें
सिर्फ मतलब होता है
टांग खींचने से ।
ऐसे लोग
जानते हैं सिर्फ एक ही भाषा
पद,पैसे,
पहुँच और परिचय की
लेकिन नहीं जानते
तो सिर्फ यह
कि आने वाला कल
उनकी ही तरह पलटी मार कर
उनके साथ भी कर सकता है वही
जो वह कर रहे हैं आज
औरों के साथ।
~यशवन्त यश©
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