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22 June 2020

कल देखना फिर

कुछ यायावर हैं यहाँ
कुछ तमाशाई हैं
फ़ितरतें तो खैर
सभी की समझ आई हैं
वक्त अपना भी होगा
कल देखना फिर
है खुदा एक और
एक उसकी खुदाई है।

-यशवन्त माथुर ©
22062020

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